भूमंत्र पर मशरूम की सफलता की एक और कहानी : भूमंत्र पर मशरूम उत्पादन से स्वालंबन की जो शुरुआत की थी,वह कारवाँ बढ़ते ही जा रहा है.इसी कड़ी में नयी सफलता चंदन कुमार ने हासिल की है.भूमंत्र के लाइव सेशन से प्रभावित होकर चंदन कुमार ने मशरूम की खेती करने का निर्णय लिया. अनूप जी से जाकर प्रशिक्षण लिया और मशरूम उत्पादन में जुट गए. आज सफलता उनके कदम चूम रही है. उन्होंने इस बाबत स्वयं भूमंत्र ग्रुप में पोस्ट भी किया है. पढ़िए उनकी सफलता की कहानी -
मशरूम की खेती की शुरुआत
भूमंत्र के माध्यम से आये हुए पोस्ट को देख कर मुझे मशरुम की खेती के बारे में पता चला. फिर 22 नवम्बर के लाइव सेशन से विस्तृत जानकारी मिली तो हमारी इच्छा हुई मशरुम की खेती करने की. निःशुल्क प्रशिक्षण होने के वजह से मैं प्रशिक्षण हेतु अनूप जी के घर पर गया. वहां उन्होंने मशरुम के व्यापार से होने वाले फायदे, घर पर सब्जी के रूप मे इस्तेमाल करने पर इसमें मौजूद विटामिन,प् रोटीन से शरीर के ऊपर होने वाले फायदों के बारे में बताया औऱ साथ मे इन्होंने बताया कि महीने के 15 हजार से 50 हज़ार तक आसानी से घर मे रह कर और महज दो घंटे का समय दे कर कमाया जा सकता है ।
गाँव में ही बिक गया सारा मशरूम
सुनने के बाद थोड़ा अजीब तो था लेकिन फिर इन्होंने अपने प्रोडक्शन हाउस दिखाया जो कि काफी साधारण सा बना हुआ था लेकिन महीने की कमाई 1 लाख तक आराम से हो जाती है। फिर हमें मार्केट की परेशानी से डर लग रहा था लेकिन अनूप जी के बातो से वो डर भी निकल गया और हमने मशरुम की खेती शुरू किया. पहली बार जब फ़लन आया तो गांव में ही बिक गया. उसके बाद मैं फिर से बीज लाया और बूआई किया फिर फ़लन आते गया और मेरा सारा मशरुम गांव और आसपास के बाजार में ही बिकता गया। इतना अच्छा व्यापार होता है मशरुम जहाँ की आमदनी रोज 500 से 1000 हो जाती है।
अब बड़े पैमाने पर मशरूम उत्पादन की योजना
इस लिए हम निर्णय लिए है कि बडे पैमाने पर मशरूम की खेती हम करगे जिसकी ब्यवस्था हम कर रहे है । इन सब के लिए भू मंत्र और अनूप जी को हमारा धन्यवाद । नया रास्ता दिखाने के लिए ।
(चंदन कुमार, लाट, हुलासगंज, जहानाबाद, बिहार)
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mashrum ki demand market mein badhti ja rahi hai ye ek sunhara avsar hai hamare logo ke liye
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