दलित चिंतक अक्सर ये कुतर्क देते हैं कि ” जब तक अंतर्जातीय विवाह ” नहीं होगा तब तक जातियता खत्म नहीं होगी ” लेकिन सवाल उठता है कि जिन दलितों ने अंतर्जातीय विवाह किया है क्या उन्होंने अपनी जाति लिखना बंद कर दिया है ? अखिलेश यादव आज भी खुद को दलित कहते हैं , रामविलास पासवान से उदित राज तक सबकी शादी तथाकथित उच्च जाति में हुई है.
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हमारे परिचय के दो चार आईएएस अफसर है जिन्होंने एकेडमी ट्रेनिंग में ही उच्च जाति में शादी किया और आज भी पुरे दलितत्व के साथ सारी सुख-सुविधाएं दलित के नाम पर बटोरना चाहते हैं तो जब लाख उपाय करके भी तुम लोगों को ब्रम्हबेला से लगाएं गोधूलि तक दलित ही रहना है तो क्या #@₹#@@₹##@ के लिए अंतर्जातीय विवाह का सिगुफा पकड के बैठे हो .
गनीमत मनाओ की कोई कायदे का देशभक्त बंदा